दैनिक सांध्य बन्धु नई दिल्ली। सीधी जिले में भाजपा विधायक रीति पाठक ने एक सार्वजनिक कार्यक्रम के मंच पर अपनी ही सरकार के उपमुख्यमंत्री और स्वास्थ्य मंत्री राजेंद्र शुक्ला पर गंभीर आरोप लगाए। विधायक ने कहा कि जिला अस्पताल की व्यवस्थाओं में सुधार के लिए 7 करोड़ रुपए आवंटित किए गए थे, लेकिन वह राशि गायब हो गई। उन्होंने स्वास्थ्य विभाग को कई बार पत्र लिखा, लेकिन कोई जवाब नहीं मिला।
रीति पाठक ने मंच से कहा कि अस्पताल में डॉक्टर, स्टाफ और उपकरणों की पर्याप्त व्यवस्था होनी चाहिए। उन्होंने डिप्टी सीएम से शिकायत करते हुए कहा कि रीवा से आगे बढ़कर सीधी के विकास पर भी ध्यान दिया जाए।
पत्र लिखने पर भी नहीं मिला जवाब
विधायक रीति पाठक ने कहा कि उन्होंने अपनी विधायक निधि से यह राशि स्वीकृत की थी और एक साल में सात बार पत्र लिखे। लेकिन, अब तक कोई कार्रवाई नहीं हुई। उन्होंने इसे लेकर मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव से भी मुलाकात की और सीधी क्षेत्र में विकास कार्यों के लिए आश्वासन मांगा।
स्वास्थ्य विभाग का दावा- राशि नहीं आई
जिला अस्पताल की सिविल सर्जन दीपारानी इसरानी ने कहा कि विधायक निधि से कोई भी धनराशि उनके कार्यकाल में प्राप्त नहीं हुई। वहीं, विधायक निधि शाखा और सांसद निधि शाखा ने भी ऐसी किसी राशि के आवंटन से इनकार किया।
कांग्रेस ने सरकार पर साधा निशाना
भाजपा विधायक के आरोपों पर कांग्रेस ने सरकार पर हमला बोला। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष जीतू पटवारी ने कहा कि जब विधायकों की सुनवाई नहीं हो रही, तो जनता की स्थिति क्या होगी। नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने इसे सरकार की विफलता करार दिया और 7 करोड़ की राशि का हिसाब मांगा।
डिप्टी सीएम की चुप्पी पर सवाल
इस पूरे घटनाक्रम में डिप्टी सीएम राजेंद्र शुक्ल की ओर से कोई स्पष्टीकरण सामने नहीं आया। मामले ने पार्टी और सरकार दोनों के लिए असहज स्थिति पैदा कर दी है।