Jabalpur News: निजी स्कूलों को हाईकोर्ट से लगा झटका , अभिभावकों को मिली बड़ी राहत

दैनिक सांध्य बन्धु जबलपुर। मध्य प्रदेश हाईकोर्ट ने राज्य के निजी स्कूलों द्वारा अवैध रूप से वसूली जा रही फीस पर कड़ा रुख अपनाया है। कोर्ट ने स्पष्ट आदेश दिया है कि स्कूल संचालक अधिकतम 10% तक ही फीस बढ़ा सकते हैं, इससे अधिक वसूली गई राशि अभिभावकों को वापस करनी होगी।

अभिभावकों की ओर से हाईकोर्ट में दायर याचिका में आरोप लगाया गया था कि कई निजी स्कूल मनमाने तरीके से फीस बढ़ाकर अभिभावकों पर दबाव बना रहे हैं। इस पर हाईकोर्ट ने कहा कि शिक्षा का व्यवसायीकरण बर्दाश्त नहीं किया जाएगा और नियमों का उल्लंघन करने वाले स्कूलों पर सख्त कार्रवाई होगी।

सुनवाई के दौरान स्कूल प्रबंधन ने बताया कि 70% अभिभावकों ने फीस जमा कर दी है, जबकि बाकी फीस कोर्ट में मामला लंबित होने के कारण अभिभावक इंतजार कर रहे हैं। हाईकोर्ट ने आदेश दिया कि अभिभावकों को 3 दिन के भीतर 50% फीस जमा करनी होगी, जबकि शेष 50% फीस के लिए 3 महीने की मोहलत दी जाएगी।

मुख्य न्यायाधीश सुरेश कुमार कैत और न्यायमूर्ति विवेक जैन की खंडपीठ ने इस मामले में अगली सुनवाई 17 मार्च को तय की है। पेरेंट्स एसोसिएशन के वकील सुरेंद्र वर्मा ने बताया कि यदि स्कूलों ने अवैध रूप से ली गई फीस वापस नहीं की, तो उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई हो सकती है।

शिक्षा विशेषज्ञों का मानना है कि हाईकोर्ट का यह फैसला राज्य के लाखों अभिभावकों को राहत देगा और निजी स्कूलों की मनमानी पर लगाम लगाएगा। सरकार को भी इस मामले में कड़े नियम लागू करने की जरूरत है, ताकि भविष्य में इस तरह की समस्या दोबारा न हो।

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