महागौरी की आराधना में डूबा जबलपुर: अष्टमी पर हुआ हवन-पूजन, लगा हलवा-पूरी का भोग, कन्या भोज से गूंजे घर-आंगन

दैनिक सांध्य बन्धु जबलपुर। चैत्र नवरात्रि की अष्टमी पर जबलपुर पूरी तरह भक्ति में सराबोर नजर आया। मां दुर्गा के आठवें स्वरूप महागौरी की पूजा-अर्चना पूरे श्रद्धा भाव से की गई। महागौरी को दुखों का निवारण करने वाली देवी माना जाता है, इसलिए शहरवासियों ने पूरे दिन व्रत रखकर सुख-शांति और समृद्धि की कामना की।

शहर के प्रमुख देवी मंदिरों—बड़ी खेरमाई, शीतला माता, काली माता मंदिर सदर, शारदा मंदिर मदनमहल, गलगला दुर्गा मंदिर सहित अन्य स्थलों पर तड़के से ही श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ पड़ी। माता रानी को हलवा-पूरी, चने और अन्य नैवेद्य का भोग लगाया गया।

हवन, कन्या पूजन और भंडारे का आयोजन

अष्टमी तिथि पर हवन-पूजन और कन्या भोज का विशेष महत्व होता है। कई परिवारों में नौ कन्याओं को भोजन कराकर देवी का आशीर्वाद प्राप्त किया गया। शहर के मंदिरों में जगह-जगह भंडारों का आयोजन हुआ। मंदिर समितियों ने भीड़ को संभालने के लिए विशेष प्रबंध किए थे जिससे भक्तों को किसी परेशानी का सामना नहीं करना पड़ा।

कलश और जवारे पूजन भी प्रमुख आकर्षण

इस अवसर पर देवी मंदिरों और घरों में बोए गए जवारे और कलश की पूजा भी विधिपूर्वक की गई। बगलामुखी मठ में पूरी रात हवन चला और आज सहस्त्र गुलाबों, साड़ियों व किशमिश से विशेष अर्चना की गई। मठ के अधिष्ठाता ब्रह्मचारी चैतन्यानंद जी ने बताया कि अष्टमी पर विशेष शक्ति आराधना होती है, जिससे साधक के समस्त कष्ट दूर होते हैं।

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